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◆ बिरसा मुंडा के जनजातिय कार्यक्रम में सोनभद्र रहे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ

◆ सोनभद्र एक मात्र ऐसा जनपद जहाँ एक साथ निवास करती हैं 13 जनजातियां: मुख्यमंत्री

◆ सीएम ने 575 करोड़ लागत की 233 परियोजनाओ का बटन दबाकर किया लोकार्पण।

सोनभद्र। जनपद के लिए गौरव की बात है कि उत्तर प्रदेश में सूची बद्ध 15 जन जातियों में से 13 जनजातियां निवास करती हैं ऐसा कहना था उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री योगी आदित्य नाथ का जो मंगलवार को सोनभद्र मुख्यालय से लगभग 125 किलोमीटर दूर सेवा अखिल भारतीय वनवासी कल्याण आश्रम से संबद्ध सेवा समर्पण संस्थान द्वारा आयोजित सेवा कुंज आश्रम के बिरसा मुण्डा वनवासी विद्यापीठ के कारीडॉड़ , चपकी स्थित प्रांगण में भगवान बिरसा मुण्डा की जयंती के अवसर पर आयोजित जनजातीय गौरव दिवस के कार्यक्रमों को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि देश के आज़ादी के आंदोलन में भगवान बरसा मुण्डा का विशेष योगदान रहा अजादी के आंदोलन में उन्होंने स्वयं का बलिदान केवल 24 वर्ष की उम्र में दे दिया। पूरे देश में सोनभद्र एक मात्र ऐसा जनपद है जहाँ 13 आदिवासी जातियाँ एक साथ निवास करती हैं अन्य किसी भी एक जनपद में इतनी जन जातियाँ निवास नहीं करती हैं। उन्होंने कहाकि सृष्टि की रचना के साथ ही प्रकृति के उतार चढ़ाव के साथ तमाम संघर्षों को झेलते हुए जीवन जीने और धरती से जुड़े रहने का सोनभद्र एवं यहाँ जनजाति के लोग साक्षी हैं। योगी ने कहा कि हम प्रधान मंत्री के आभारी हैं जिन्होंने 15नवम्बर को जनजाति गौरव दिवस के रूप में में मान्यता दी। यह दिवस अतीत की परम्पराओं से जुड़ने का माध्यम है। उन्होंने कहाकि जनजातियों के लोगों ने स्वयं को धरती माता से हमेशा जोड़े रखा और स्वयं को धरती माता का पुत्र माना . इन लोगों ने वनों की सुरक्षा, संरक्षण किया तथा हर प्रकार का योगदान दिया जिससे वन सुरक्षित रहें और बढ़ें . आज़ादी की लड़ाई में भारत की जनजातियों पर अनेक अत्याचार हुए जिसने रानी दुर्गावती और भगवान बिरसा मुण्डा को बलिदान देना पड़ा इनके अलावा भी अनेक आदिवासी समाज के लोगों ने बलिदान दिया। उत्तर प्रदेश में 2017 में भाजपा की सरकार आने के बाद हमने जनजातियों के विकास के लिए अनेक कार्य किए जिससे प्रत्येक तबके को लाभ मिला। उन्होंने कहाकि ऐसे गाँव जहाँ विकास की कोई किरण नहीं पहुँची थी, उनको राजस्व गाँव का दर्जा देकर वहाँ के लोगों को पी एम और सी एम आवास योजनाओं से पक्का मकान, पानी ,बिजली , राशन आदि की सुविधाओं से सीधा जोड़ा . उत्तर प्रदेश के अन्य जिलों से आए जन जाति समुदाय के साथ साथ सभी लोगों को सम्बोधित करते हुए उन्होंने कहा कि आपका अधिकार आपको मिलना ही चाहिए और मिलेगा भी . जन जाति भाईयों को वनाधिकार क़ानून के अंतर्गत पट्टा और आवास योजनाओं के तहत आवास मिलेगा साथ ही हर घर नल योजना का भी सभी को लाभ मिलेगा . जहाँ बिजली ले जाने में दिक्कत थी वह सोलर पैनलों से बिजली उपलब्ध कराई जा रही है। उन्होंने कहा कि सड़कों का निर्माण मिशन मोड पर किया जा रहा है। 2006 में वनाधिकार क़ानून में संशोधन किया गया लेकिन अधिकार देने का कार्य भाजपा की सरकार ने किया उसके पूर्व किसी सरकार ने कोई कार्य जनजातियों के हित में नहीं. किया . उन्होंने सेवा समर्पण संस्था के लोगों का आह्वान किया कि जनजाति के लोगों को ईको टूरिज़्म से गाइड के रूप में जोड़ें तथा वनस्पतियों के मामले में उनके ज्ञान को आयुर्वेद के लोगों के साथ साझा करके एक दूसरे की जानकारी का लाभ देश और समाज को दिलवाएँ। कार्यक्रम के प्रारंभ में मुख्यमंत्री द्वारा प्रदेश के तेरह जिलों से आए जनजातीय समुदाय के लोगों में से कुछ को स्वयं जमीनों के पट्टे के काग़ज़ात वितरित किए जबकि अन्य को अधिकारियों द्वारा वितरित किया जाएगा।

इसके अतिरिक्त मुख्य मंत्री ने 19550 लाख की 55 परियोजनाओं का लोकार्पण एवं 33994 लाख की 178 परियोजनाओं का शिलान्यास किया। उक्त अवसर पर आजीविका मिशन के स्वयं सहायता समूह की सदस्यों के द्वारा विकास खंड बभनी के सेवा कुंज आश्रम में समूह के उत्पादों का स्टाल लगाया गया, जहां पर प्रदेश के मुखिया, योगी आदित्यनाथ के द्वारा समूह द्वारा बनाए गए उत्पादों का निरीक्षण किया गया एवं उनके द्वारा बनाए गए उत्पादों की सराहना करते हुए मार्केटिंग के विषय में भी जानकारी ली। कार्यक्रम का संचालन सेवा कुंज प्रकल्प के श्री राम लखन जंगली, अध्यक्षता श्री एस. राय – सेवा समर्पण संस्थान के प्रांतीय अध्यक्ष, सेवा कुंज आश्रम के प्रमुख सह संगठन मंत्री आनंद जी, तीन विधायक सर्व श्री भूपेश चौबे रावर्टसगंज, राम दुलार गोंड़ – दूधी, अशोक मौर्या – घोरावल व मंत्री विधायक संजीव गोंड़ – ओबरा के साथ-साथ जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती राधिका पटेल, सांसद पकौड़ी कोल मंच पर उपस्थित थे।