उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी जरूरतमंदों को खाद्यान्न उपलब्ध कराने के लिए निर्देश देते हुए अधिकारियों से यह सुनिश्चित करने को कहा है कि प्रदेश में कोई भूखा न रहे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने निराश्रितों को खाद्यान्न उपलब्ध कराने के लिए एक हजार रुपए, बीमार होने की दशा में उपचार के लिए दो हजार रुपए तथा किसी बेसहारा व्यक्ति की मृत्यु होने पर अन्तिम संस्कार के लिए उसके परिवार को पांच हजार रुपए देने की व्यवस्था की है। मुख्यमंत्री मंगलवार को लॉकडाउन में ढील की व्यवस्था की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने निर्देश दिया कि निषिद्ध क्षेत्रों में घर तक सामान पहुंचाने की व्यवस्था को जारी रखा जाए। पुलिस प्रभावी गश्ती करते हुए यह सुनिश्चित करे कि कहीं भीड़ एकत्र ना हो। उन्होंने जनपदों में तैनात स्वास्थ्य विभाग के नोडल अधिकारियों को कोविड तथा गैर कोविड अस्पतालों का नियमित निरीक्षण करने के निर्देश दिए हैं। अधिकारी इन अस्पतालों की समस्त व्यवस्थाओं की सीधी जानकारी प्राप्त करते हुए अपनी रिपोर्ट शासन को देंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि पुलिस, पीएसी, दमकल सेवा तथा रेलवे पुलिस के कर्मियों को संक्रमण से बचाने के लिए सभी सुरक्षात्मक उपाय किए जाएं। चिकित्साकर्मियों को संक्रमण से बचाने के उद्देश्य से उनका प्रशिक्षण कार्य निरन्तर संचालित किया जाए। आदित्यनाथ ने कहा कि शहरी और ग्रामीण इलाकों में निगरानी समितियों के सक्रिय रहने से संक्रमण को रोकने में सहायता मिल रही है। उन्होंने प्रमुख सचिव-ग्राम्य विकास तथा प्रमुख सचिव- नगर विकास को निगरानी समितियों के कार्यों की नियमित समीक्षा के निर्देश दिए।उन्होंने कहा कि निगरानी समितियां ग्रामीण इलाकों में राजस्व सम्बन्धी विवादों को रोकने में भी उपयोगी भूमिका निभा सकती हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि एक जून से खाद्यान्न वितरण अभियान पुनः प्रारम्भ हो गया है। उन्होंने निर्देश दिए कि गोदाम से लेकर राशन की दुकान तक सभी व्यवस्थाएं सुचारु ढंग से सम्पन्न किए जाएं। उन्होंने कहा कि गेहूं क्रय केन्द्रों को पूरी तरह सक्रिय रखते हुए किसानों से गेहूं खरीदने का कार्य तेजी से किया जाए।